विकलांगों की प्रमुख समस्याओं का पांच सूत्री ज्ञापन मुख्यमंत्री को संबोधित द्वारा जिलाधिकारी बांदा सौंपा।
श्रीमती नागपाल जिलाधिकारी बांदा ने विकलांगो की जिला स्तरीय समस्या के लिए तत्काल कार्यवाही की।

बांदा आज दिनांक 21 अगस्त 2023 को राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के सदर तहसील अध्यक्ष श्री राम प्रजापति के नेतृत्व में जनपद के सभी विकलांगों ने शहर स्थित अशोक लाट पर एकत्रित होकर अपनी मूल समस्याओं से संदर्भित ज्ञापन उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को संबोधित लेकर जिलाधिकारी कार्यालय पहुंच कर सौंपा,एवं साथ ही अपनी मूल समस्याओं को लेकर अवगत कराया जिसके तत्काल बाद जिलाधिकारी बांदा ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जिलास्तरीय समस्याओं का निस्तारण तत्काल किया जाए।
राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के पदाधिकारियों द्वारा दो दशक से विकलांगों की मूलभूत समस्याओं को लेकर जिला स्तर व प्रदेश तथा भारत सरकार को धरना प्रदर्शन व आंदोलन के माध्यम से ज्ञापन अवगत कराते रहे हैं। विकलांग समाज की सबसे कमजोर कड़ी है,जोतन और धन से विकलांग है। आज तक सरकारों का ध्यान इन पर नहीं गया जबकि विकलांग, वृद्ध,विधवा सरकारों के आश्वासन पर टकटकी निगाह से इस उम्मीद पर रहते हैं कि अबकी बार शायद कुछ हो जाए। ज्ञापनों के माध्यम से राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के पदाधिकारी विकलांगों की ज्वलंत समस्यायों को लेकर सरकारों को अवगत कराते हैं।
1. विकलांगों को अंत्योदय राशन कार्ड निर्गत किए जाये जिससे वह अपना जीवन यापन सुचारू रूप से कर सके।
2. विकलांग आवस के लिए सरकार ने जो मुहिम चलाई सर्वे हुआ कागज जमा हुए पर आज तक एक भी विकलांग को आवास नहीं मिला जबकि विकलांगों के पास पैसा नहीं है। कि वह अपना घर बना सकें ऐसे में सरकार को सबसे कमजोर कड़ी विकलांगों को आवास देकर बराबर का अधिकार देने के काम करने होगें।
3. उत्तर प्रदेश सरकार ने वादा किया था कि 2022 में हमारी सरकार आयी तो विकलांग,वृद्ध,विधवा पेंशन 1500 सौ रुपए कर दी जायेगी अखिर क्यों सरकार विकलांगों के साथ झूठा वादा करती है।
4. विकलांग अधिनियम 2016 को लेकर विकलांगों ने राज्य सरकार से लेकर भारत सरकार तक धरना प्रदर्शन आंदोलन किए लेकिन सरकार ने आज तक विकलांग अधिनियम को लागू नहीं किया। जबकि सुप्रीम कोर्ट ने सरकारों की लापरवाही को देखते हुए राज्य सरकार व केंद्र शासित को निर्देशित किया है कि 30 सितम्बर तक विकलांग अधिनियम 2016लागू हो जाना चाहिए।
5. जिलाधिकारी द्वारा प्रत्येक जनपद में बैठक हुआ करती थी जो पिछले दो दशक से नहीं हो रही है।जिसमें विकलांगों की विभिन्न प्रकार की समस्याओं का समाधान जिला स्तरीय समस्याएं बैठक के माध्यम से निस्तारण किया जाता था जो अब नहीं हो रहा है।
अतः उत्तर प्रदेश के सभी जिलाधिकारियों को निर्देशित किया जायें कि प्रत्येक माह में बैठक की तारीख सुनिश्चित किया जाए। जिससे जिलास्तरीय समस्याओं का समाधान जिले में ही हो सकें।ज्ञापन देने में राष्ट्रीय विकलांग पार्टी के लगभग आधा सैकड़ा कार्यकर्ता ने सहभागिता की।