दुनिया

जिन्ना का देश बना महाभिखारी, 75 साल में 130 अरब डॉलर पहुंचा कर्ज, इतिहास के सबसे बड़े संकट में डूबा पाकिस्तान

इस्‍लामाबाद: भारत से अलग होकर बना मोहम्‍मद अली जिन्‍ना के सपनों का पाकिस्‍तान अंतरराष्‍ट्रीय भिखारी बन गया है। आलम यह है कि पाकिस्‍तान पिछले 75 साल में सबसे बड़े आर्थिक संकट का सामना कर रहा है और कर्ज के बोझ तले दब गया है। पाकिस्‍तानी विशेषज्ञ प्रोफेसर हाफिज ए पाशा के मुताबिक देश की आजादी के पहले 67 साल में विदेशी कर्ज 65 अरब डॉलर था। वहीं साल 2014-15 से 2021-2022 के बीच में यह कर्ज लगभग दोगुना होकर 130 अरब डॉलर तक पहुंच गया। यह पाकिस्‍तान की कुल जीडीपी का 40 प्रतिशत है। यही वजह है कि पाकिस्‍तान के डिफॉल्‍ट होने का खतरा बहुत बढ़ गया है।



पाकिस्‍तान के इस महासंकट के बीच पिछले दिनों इतिहास की सबसे भीषण बाढ़ आई थी। प्रोफेसर हाफिज के मुताबिक इस बाढ़ से पाकिस्‍तानी अर्थव्‍यवस्‍था पर 30 अरब डॉलर का बोझ आ गया है। इस बीच पिछले साल फरवरी में रूस ने यूक्रेन पर हमला कर दिया जिससे दुनियाभर में महंगाई अपने चरम पर पहुंच गई। तेल के दाम आसमान छूने लगे और गेहूं समेत खाद्यान की कीमतों में भी आग लग गई। उन्‍होंने बताया कि साल 2021-22 में देश का करंट अकाउंट डेफिसिट 17.4 अरब डॉलर पहुंच गया जो दूसरा सबसे ज्‍यादा है।

आईएमएफ पाकिस्‍तान को नहीं दे रहा कर्ज

हाफिज ने बताया कि एक तरफ जहां करंट अकाउंट डेफिसिट बढ़ गया, वहीं विदेशी मुद्रा भंडार जो जून 2021 में 17.3 अरब डॉलर था, वह घटकर जून 2022 में 9.8 अरब डॉलर पहुंच गया। यह गिरना जारी रहा और बाद में यह करीब 4 अरब डॉलर तक पहुंच गया। पाकिस्‍तान की क्रेडिट रेटिंग भी लगातार गिरती जा रही है। पाकिस्‍तान के वित्‍त मंत्रालय के मुताबिक विदेशी वित्‍तपोषण की समस्‍या गंभीर होती जा रही है और कुल जरूरत 22.8 अरब डॉलर की है, वहीं पिछले महीने में केवल 7.4 अरब डॉलर ही आए।

पाकिस्‍तान आईएमएफ से लोन की ताजा किश्‍त मांग रहा है लेकिन कर्ज लेकर घी पीने की आदत के कारण वैश्विक एजेंसी भी उससे किनारा कर रही है। हालत यह है कि युद्धग्रस्‍त यूक्रेन को आईएमएफ ने कर्ज दिया है लेकिन पाकिस्‍तान को कर्ज देने से बच रहा है। प्रफेसर हाफिज कहते हैं कि अगर यह स्थिति बनी रहती है तो पाकिस्‍तान डिफॉल्‍ट होने की कगार पर आगे भी बना रहेगा। उन्‍होंने कहा कि पाकिस्‍तानी रुपया 56 फीसदी तक टूट चुका है और महंगाई अपने चरम पर है।

पाकिस्‍तान के इतिहास में सबसे बड़ा आर्थिक संकट

पाकिस्‍तानी विशेषज्ञ ने कहा कि देश में बाढ़ से फसलें खराब हो गई हैं जिससे अनाज की सप्‍लाइ नहीं हो पा रही है। पाकिस्‍तान के पास इतना डॉलर नहीं है कि वह विदेश से आयात कर सके। इससे समस्‍या काफी बढ़ गई है। उन्‍होंने कहा कि इन सबूतों से यह साफ जाहिर होता है कि यह पाकिस्‍तान के 75 साल के इतिहास में सबसे बड़ा आर्थिक संकट है। उन्‍होंने कहा कि हमने साल 1971-72 और 1998-99 में इस तरह की समस्‍या का सामना किया है लेकिन इन वर्षो में जीडीपी विकास दर सकारात्‍मक था और महंगाई भी कम थी। हालांकि अबकी बार ऐसा नहीं है और जीडीपी निगेटिव ग्रोथ रेट में जा रही है और महंगाई अपने चरम पर है। उन्‍होंने कहा कि देश में गरीबों और बेरोजगारों की तादाद काफी बढ़ रही है और यह वास्‍तव में देश के आर्थिक इतिहास के लिए बहुत दुखद समय है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button