उत्तर प्रदेशराज्य

उत्तर प्रदेश में 25 नए सरकारी नर्सिंग कॉलेज खुलेंगे, लिस्ट में देखिए अपने जिले का नाम

लखनऊ: योगी सरकार ने मेडिकल की पढ़ाई करने वाले छात्रों को तोहफा दिया है. सरकार ने मेडिकल की यूजी और पीजी की सीटें बढ़ाने के बाद पैरामेडिकल (नर्सिंग) की सीटों में बड़े पैमाने में वृद्धि करने जा रही है. इसी के तहत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश के 25 जिलों में नए राजकीय नर्सिंग कॉलेज खोलने का निर्णय लिया है. इसके माध्यम से प्रदेश के छोटे शहरों में भी छात्र सरकारी फीस पर नर्सिंग की पढ़ाई कर सकेंगे और प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था को मजबूत करने में अपना योगदान दे सकेंगे.

20 जिलों में निर्माण कार्य जारी, अगले सत्र में होगी पढ़ाई

चिकित्सा शिक्षा और प्रशिक्षण महानिदेशक (DGME) किंजल सिंह ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ लगातार प्रदेश के स्वास्थ्य इंफ्रास्क्चर को मजबूत करने के लिए आवश्यक कदम उठा रहे हैं. इसके साथ ही प्रदेश के छात्रों को मेडिकल और पैरामेडिकल की पढ़ाई के लिए उचित संसाधन उपलब्ध कराने के लिए भी युद्धस्तर पर काम कर रहे हैं. इसी के तहत प्रदेश के 25 जिलों में नये राजकीय नर्सिंग कॉलेज खोलने की स्वीकृति दी है. जहां अगले एकेडमिक सेशन में पढ़ाई शुरू हो जाएगी. सीएम योगी की मंशा के अनुरूप 20 जिलों में कॉलेजों का निर्माण कार्य चल रहा है. जबकि पांच जिलों में निर्माण की स्वीकृति दे दी गयी.

निर्माण कार्य जल्द पूरा करने के निर्देश

किंजल सिंह ने बताया कि इन कॉलेज के निर्माण कार्य के लिए प्रदेश की चार संस्थाओं को नामित किया गया है. उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड (उ. प्र. रा. नि. नि. लि.), कंस्ट्रक्शन एंड डिजाइन सर्विसेज (सी एंड डीएस), यूपी स्टेट कंस्ट्रक्शन एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कारपोरेशन लिमिटेड (यूपी सिडको) और उत्तर प्रदेश प्रोजेक्ट्स कारपोरेशन लिमिटेड (यूपीपीसीएल) नर्सिंग कॉलेज का निर्माण करा रही हैं. सीएम ने कार्यदायी संस्थाओं को कॉलेजों का निर्माण कार्य जल्द पूरा करने का निर्देश दिया है, ताकि अगले एकेडमिक सेशन से पढ़ाई शुरू हो सके.

इन चल रहा नये राजकीय नर्सिंग कॉलेज का निर्माण

अयोध्या, बहराइच, शाहजहांपुर, सिद्धार्थनगर, फतेहपुर, गोंडा, सुल्तानपुर, मीरजापुर, लखीमपुर खीरी, बस्ती, फिरोजाबाद, हरदोई, एटा, अमेठी, ललितपुर, बिजनौर, कौशांबी, गाजीपुर, प्रतापगढ़ और चंदौली में राजकीय नर्सिंग कॉलेज का निर्माण कार्य चल रहा है. जबकि देवरिया, कानपुर देहात, सोनभद्र, कुशीनगर और पीलीभीत में निर्माण कार्य प्रारंभ करने की स्वीकृति दी गई है.

केजीएमयू में संसाधनों की कमी नहीं होने देंगेः डिप्टी सीएम

वहीं, डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) के इमरजेंसी मेडिसिन विभाग की ओर से आयोजित नैमीकॉन कान्फ्रेंस के शुभारंभ मौके पर कहा कि मरीजों को बेहतर इलाज उपलब्ध कराने की दिशा में लगातार प्रयास किए जा रहे हैं. नई तकनीक व आधुनिक इलाज को केजीएमयू में लागू किया जा रहा है. इसके लिए बजट की कमी नहीं होने दी जायेगी. डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा कि केजीएमयू में संसाधनों की कमी नहीं होने देंगे. केजीएमयू के ज्यादातर प्रस्तावों को सरकार पूरा कर रही है. हाल ही में केजीएमयू के विस्तार के लिए सरकार ने भूमि मुहैया कराई है. यह भूमि केजीएमयू को पूरी तरह से निशुल्क दी गई है.

उन्होंने कहा कि केजीएमयू में रोबोटिक सर्जरी जल्द शुरू होगी. उन्होंने यूनिवर्सिटी प्रशासन से कहा कि किडनी व लिवर ट्रांसप्लांट नियमित रूप से किये जायें. जल्द से जल्द बोन मैरो ट्रांसप्लांट यूनिट बनाई जाये. डिप्टी सीएम ने कहा कि केजीएमयू का क्षेत्रफल बहुत बड़ा है. लारी कॉर्डियोलॉजी, मानसिक रोग विभाग, वृद्धावस्था मानसिक स्वास्थ्य विभाग व दंत संकाय समेत अन्य विभाग मुख्य परिसर की सड़क की दूसरी ओर हैं. ऐसे में स्ट्रेचर व व्हील चेयर से मरीजों को शिफ्ट करने में अड़चन होती है. इस व्यवस्था को ठीक कराने में सभी विभागों को मिलकर काम करने की जरूरत है, ताकि मरीजों को असुविधा न हो.

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