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Amritpal Singh के पीछे पड़ी पुलिस तो स्वतंत्रता की दुहाई देने लगे विदेशी सांसद, भारतीयों ने फेल किया Khalistan एजेंडा

नई दिल्ली: जब तक अमृतपाल सिंह खुलेआम भारत में रहकर देश तोड़ने की बातें कर रहा था, दुनिया में बैठे कुछ लोगों को कोई दिक्कत नहीं थी। जैसे ही उस पर शिकंजा कसा जाने लगा तो कई विदेशी सांसद नागरिकों की स्वतंत्रता की दुहाई देने लगे हैं। अमृतपाल फरार है और उसके 100 से ज्यादा करीबियों को गिरफ्तार कर लिया गया है। पिछले महीने थाने पर हमले की घटना को देखते हुए किसी भी तरह की अफवाह फैलने से रोकने के लिए प्रशासन ने इंटरनेट बंद क्या किया, कनाडा-यूके में बैठे खालिस्तानी बिलबिला उठे। ट्विटर पर वे भारत की न्यूज बता रहे हैं। कुछ ऐसे लोगों को भारतीय सिखों ने करारा जवाब दिया है। कनाडा की न्यू डेमोक्रैटिक पार्टी के नेता जगमीत सिंह ने लिखा, ‘मैं उन खबरों से काफी चिंतित हूं कि भारत ने नागरिकों की स्वतंत्रता को खत्म कर दिया है और पंजाब प्रांत में इंटरनेट ब्लैकआउट हो गया है।’ जगमीत ने तो 1984 सिख दंगों का भी जिक्र कर डाला। आगे कहा कि मैं जस्टिन ट्रूडू सरकार से फौरन अपने भारतीय समकक्ष से संपर्क कर चिंता जताने के लिए कह रहा हूं। जगमीत के एजेंडे को कई भारतीय सिखों ने फेल कर दिया।


अविंदर सिंह कपूर ने लिखा, ‘मैं पंजाब में बैठा हूं। मैं आपको बताना चाहता हूं कि मैं अपनी नागरिक स्वतंत्रता का खुलकर आनंद ले रहा हूं। विदेशी एजेंटों से हमें छुटकारा दिलाने के लिए कुछ इलाकों में इंटरनेट सस्पेंड किया गया है। अगर उन्हें (एजेंटों) अपने पांव पसारने की अनुमति दी गई होती, तब हमारी स्वतंत्रता को खतरा होता। आप अपने काम से काम रखिए।’
पैट्रिक ब्रॉकमन ने भी जगमीत के एजेंडे की हवा निकाल दी। उन्होंने कहा कि जगमीत को अंगुली उठाते देखना हमेशा मजेदार रहता है। ये ट्रकवालों को जेल में डालने, उनके खाते सीज करने का सपोर्ट करते हैं क्योंकि वे उनके लोग नहीं हैं। दूसरी तरफ, जब भी इन्हें सूट करता है भारत की सरकार को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ते। हालांकि इस्लामिस्ट और खालिस्तानी पर कुछ नहीं बोलते क्योंकि उनकी राजनीति के लिए फंडिंग वहीं से आती है।

कनाडा के सिख सांसद टिम एस. उप्पल भी ट्विटर पर पंजाब को लेकर गंभीर चिंता जताने लगे। उन्होंने लिखा, ‘पंजाब, भारत से आ रही खबरों से काफी चिंतित हूं। सरकार ने इंटरनेट बंद कर दिया है और कुछ इलाकों में 4 से ज्यादा लोगों के जुटने पर पाबंदी लगा दी है। हम हालात पर नजर रखे हुए हैं।’ इन्हें भारतीयों ने जमकर सुनाया। कुछ लोगों ने लिखा कि कृपया भारत आ जाइए, इस समय पुलिस मूड में है। एक यूजर ने लिखा, ‘हालात पर नजर रखो, उससे ज्यादा तुम कुछ कर भी नहीं सकते हो।’

ब्रिटिश सांसद तनमनजीत सिंह कहां पीछे रहने वाले थे। वह पहले भी भारत सरकार पर कई तरह के आरोप लगाते रहे हैं। उन्होंने लिखा, ‘भारत से काफी चिंतित कर देने वाली खबरें आ रही हैं। पंजाब प्रांत में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। बड़ी संख्या में गिरफ्तारियां हुई हैं और भीड़ पर पाबंदी लगा दी गई है। हम प्रार्थना कर रहे हैं कि सभी के मानवाधिकारों का सम्मान हो।’

संदीप थापर ने जवाब में लिखा कि मैंने आपके सारे पोस्ट देखे लेकिन आपने लंदन में भारतीय उच्चायोग पर की गई हरकत की निंदा नहीं की। उन लोगों ने भारतीय तिरंगे को हटाकर गैरकानूनी तरीके से खालिस्तानी झंडा लगाने की कोशिश की थी। दूसरे देश की बात करने से पहले अपना देख लो। रविवार को लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग में खालिस्तानियों ने काफी बवाल किया था। तोड़फोड़ कर तिरंगा फेंकने की कोशिश की। हालांकि वे खालिस्तान का झंडा लगा नहीं पाए। बाद में उच्चायोग की दीवार पर विशाल तिरंगा लगा दिया गया। भारत ने इस मामले को गंभीरता से लिया है। सुरक्षा के मुद्दे पर ब्रिटिश राजनयिक के जरिए वहां की सरकार को सख्त संदेश दिया गया है।

कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी भी तनमनजीत सिंह ढेसी पर बरस पड़े। उन्होंने कहा कि यूके में खालिस्तान एजेंडे को भड़काकर या ट्वीट से आपको नए वोट नहीं मिलने वाले हैं। उधर, पूर्व खालिस्तान समर्थक नेता जसवंत सिंह ने कहा है कि कई पश्चिमी देशों में चल रहा खालिस्तान रेफरेंडम कैंपेन पाकिस्तान की आईएसआई के इशारे पर हो रहा है और इसका भारत में सिखों के साथ कोई लेना देना नहीं है।

पूर्व खालिस्तान समर्थक ने कहा कि कुछ सिख पाकिस्तान सरकार के लिए टूल की तरह काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अमृतपाल सिंह खालिस्तान के बारे में कुछ नहीं जानता है लेकिन उसने नाम कमा लिया है। उन्होंने कहा, ‘जब वह (अमृतपाल) दुबई में था तो क्लीन शेव रहता था। वह पारंपरिक रूप से सिख धर्म का पालन नहीं करता था। वह सिख इतिहास के बारे में कुछ नहीं जानता है। मैं कहना चाहता हूं कि उसके जैसे कई अमृतपाल आगे आएंगे क्योंकि आईएसआई उनका इस्तेमाल कर रही है।’ पूर्व खालिस्तान नेता ने पीएम मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने देश के सिख समुदाय के लिए काफी काम किया है।

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